संदिग्ध दशा में मिली पीडिता

संदिग्ध दशा में मिली पीडिता

रिर्पोट रामचंद्र मिश्र
चित्रकूट। भरतकूप थाने के दुजर्नपुरवा मऊ ब की रजनी पुत्री बुद्धपाल/पत्नी स्व शिवगणेश ने पुलिस अधीक्षक को सौंपे पत्र में कहा कि पांच फरवरी को बहन सम्पत के पुत्र मनोज की देखभाल को मछरिहा जा रही थी। शाम सात बजे मछरिहा से पहले नहर किनारे पीछे से आई बुलेरो में बैठे पांच लोगों में मुलायम, शिवदास व प्रधान अत्रिमुनि दुजर्नपुरवा ने उसे पकडकर बुलेरो में बैठाकर शिवरामपुर की ओर ले गये। उसकी आंखों में पट्टी बांध दिया। रात दो बजे जंगल में हाथ-पैर बांधकर छोडकर चले गये।
गुरुवार को पीडिता ने बताया कि सवेरे पांच बजे उसने लोगों को देखा तो पास बुलाकर पुलिस को फोन से बुलाया। पुलिस ने मौके पर पहंुचकर हाथ-पैर खोलकर थाना मानिकपुर ले गये। मानिकपुर थाने में पुलिस को घटना बताई। पीडिता की रिपोटर् नहीं दजर् की गई, बल्कि शिवरामपुर पुलिस को बुलाकर छह फरवरी को पुलिस उसे दिनभर शिवरामपुर चैकी में बैठाये रही।
पुलिस पीडिता को डराती-धमकाती रही। पिता व बहन सम्पत को बुलवाया। बहन के पुत्र मनोज को भी चैकी में बैठाये रहे। आरोपियों से समझौता की धमकी देते रहे। उसके पिता से सादे कागजों में अंगूठा लगवाकर रात दस बजे धमकी देकर छोडा। पीडिता ने बताया कि उसने जेठ व ससुर के खिलाफ मामला दायर किया है। इसी रंजिश को लेकर उसके साथ घटना की गई है।